सैफई। पूर्व प्रधानमंत्री और किसान नेता चौधरी चरण सिंह की जयंती के अवसर पर चौधरी चरण सिंह पीजी कॉलेज हँवरा में अखिल भारतीय कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया। देशभर के प्रख्यात कवियों ने अपनी उत्कृष्ट रचनाओं के माध्यम से श्रोताओं को मंत्रमुग्ध कर दिया। कार्यक्रम का उद्घाटन समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव, प्रमुख महासचिव प्रो. रामगोपाल यादव और राष्ट्रीय महासचिव शिवपाल सिंह यादव ने दीप प्रज्वलित कर किया।
कवि सम्मेलन की शुरुआत कवयित्री योगिता चौहान ने मां सरस्वती की वंदना से की। उन्होंने अपनी रचना “निजी स्वार्थ के खातिर देश लुटाते हैं…” प्रस्तुत कर समाज के ज्वलंत मुद्दों को प्रभावशाली ढंग से उठाया। इसके बाद कवयित्री अपराजिता रिषभ शिकोहाबाद ने “खड़े सीमा पर जो रहते, यह बेटे हैं किसनों के…” के जरिए सैनिकों और किसानों की महत्ता को रेखांकित किया।
कार्यक्रम में कवि जवराज ने अपनी रचना “अगर यह साथ हिंदू मुसलमानों का छूट जाएगा, तो भारत टूट जाएगा” प्रस्तुत कर समाज में आपसी सौहार्द बनाए रखने का संदेश दिया। कवि सतीश मधुप ने “केसरिया पावक सा पावन अग्नि नहीं झुकने देना” के माध्यम से श्रोताओं में देशभक्ति का जोश भर दिया।
हास्य कवि मयंक विधोलिया ने अपनी व्यंग्यात्मक रचनाओं से श्रोताओं को हंसाते हुए सरकार की नीतियों पर तीखा प्रहार किया। उनकी कविताएं न केवल मनोरंजन का माध्यम बनीं बल्कि सोचने पर भी मजबूर कर गईं।
कवि सम्मेलन में मौजूद श्रोताओं ने तालियों की गड़गड़ाहट से कवियों का उत्साहवर्धन किया। इस अवसर पर चौधरी चरण सिंह के आदर्शों और उनके किसान हितैषी दृष्टिकोण को भी स्मरण किया गया। कार्यक्रम के अंत में सभी कवियों का सम्मान किया गया।