ब्लॉक सभागार में क्षेत्र की आंगनवाड़ी कार्यकत्रियों को ग्राम बाल संरक्षण समितियों की बैठकें आयोजित करने के दौरान बाल विवाह के मुद्दे पर चर्चा करने, समस्याग्रस्त, दिव्यांग व गंभीर बीमारी से ग्रसित एवं बाल श्रम व भिक्षावृत्ति में संलग्न बच्चों को चिन्हित कर सूचीबद्ध करने तथा उन्हें लाभान्वित कराने हेतु प्रस्ताव पारित करने के लिए निर्देशित किया गया। इसके साथ ही, बैठक कार्यवृत लिखने की प्रक्रिया भी समझाई गई।
ब्लॉक बाल कल्याण एवं संरक्षण समिति की बैठक में जिला प्रोबेशन अधिकारी के निर्देश पर पहुंचे बाल संरक्षण अधिकारी सोहन गुप्ता ने बताया कि मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना के अंतर्गत 1 मार्च 2020 से अब तक पिता को खो देने वाले बच्चों को ढाई हजार रुपए प्रति माह तथा अनाथ बच्चों को चार हजार रुपए प्रति माह की आर्थिक सहायता दी जा रही है। उन्होंने दत्तक ग्रहण प्रक्रिया की जानकारी भी दी और बताया कि बाल विवाह एक सामाजिक बुराई ही नहीं बल्कि कानूनी अपराध भी है, जिसे समाप्त करना आवश्यक है। बच्चों की सुरक्षा एवं संरक्षण से संबंधित वीडियो क्लिप भी बैठक में दिखाई गई।
चाइल्ड हेल्पलाइन 1098 की प्रोजेक्ट कोऑर्डिनेटर कीर्त गुप्ता ने बताया कि बच्चों को गुड टच और बैड टच की पहचान करने की जानकारी दें तथा उन्हें अच्छे वातावरण में रहने के लिए प्रेरित करें। उन्होंने कहा कि बच्चों से संबंधित किसी भी समस्या के लिए हेल्पलाइन नंबर 1098 पर कॉल करें।
सामाजिक कार्यकर्ता प्रेम कुमार शाक्य ने कहा कि मिशन वात्सल्य का उद्देश्य हर हाल में पूरा किया जाना चाहिए। इसके लिए सभी को मिलकर प्रयास करने होंगे ताकि मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना का लाभ प्रत्येक पात्र बच्चे को मिल सके और कोई भी पात्र बच्चा इससे वंचित न रहे।
इस बैठक की अध्यक्षता ब्लॉक प्रमुख गणेश राजपूत ने की, जबकि संचालन सीडीपीओ शोभा रानी ने किया। इस अवसर पर शिक्षा विभाग से एआरपी राकेश पांडेय, स्वास्थ्य विभाग से डॉ. विनोद शर्मा, बढ़पुरा थाने से एसआई संतोष कुमार और प्रोबेशन कार्यालय से राजेश कुमार सहित कई अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित रहे।