चकरनगर
दुनिया में कहीं नहीं है पांच नदियों का संगम, आखिर पचनद को क्यों मिला महातीर्थराज संगम का दर्जा?
महाकालेश्वर धाम पर पांच नदियों का संगम होता है और इसे 'पचनद' के नाम से जाना जाता है। इटावा और जालौन की सीमा पर पचनद का स्थान प्रकृति का...
हमारा इटावा
राष्ट्रवादी स्वर : राष्ट्रकवि रामदास वर्मा निर्मोही
राष्ट्र यज्ञ में सैनिक वन , प्राणों की आहुति डालेगें।
स्वतंत्रता हित विश्व युद्ध में, सावरकर व्रत पालेंगे।।
यह कोई और नही राष्ट्रकवि "बल्लभ" जी के...
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इटावा की शान है जमुनापारी बकरी, इंडोनेशिया के लोग मानते है इसे गुडलक बकरी
इटावा की शान है जमुनापारी बकरी, इंडोनेशिया के लोग मानते है इसे गुडलक बकरी
यूं तो इस धरा पर अनेकों पशु विचरण करते हैं भारत...
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इटावा में हुई थी ‘नदी नारे ना जाओ श्याम पैंया परूं’ गाने की शूटिंग
'नदी नाले ना जाओ श्याम पैंया परूं' गाने की शूटिंग इटावा के बीहड़ में हुई थी। यह गाना फ़िल्म 'मुझे जीने दो' का हिस्सा...
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कर्म क्षेत्र महाविधालय, इटावा: अद्वितीय संस्थान
कर्म क्षेत्र महाविधालय, इटावा का एक प्रसिद्ध शैक्षणिक संस्थान है, यह कॉलेज 1959 में लाला हजारी लाल वर्मा द्वारा स्थापित किया गया था ।...
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लखना कालिका देवी मंदिर और किला
इटावा-औरैया राजमार्ग पर बकेवर से 3 किमी. दक्षिण दिशा में ऐतिहासिक नगर लखना के समीपवर्ती ग्राम दलीपनगर के जमीदार राव खुमान सिहं के पुत्र...
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काली वाहन मंदिर-देवी भक्तों का प्रमुख केन्द्र
शक्ित मत में दुर्गा-पूजा के प्राचीनतम स्वरूप की अभिव्यक्ित है इटावा कालीवाहन मन्दिर । इटावा के गजेटियर में इसें काली भवन का नाम दिया...
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पिलुवा महावीर मंदिर – बालरूप में लेटी हुई है हनुमान जी की प्रतिमा
इटावा शहर से लगभग 8 किमी दूर पश्िचम की ओर कचौरा घाट रोड पर यमुना नदी के किनारे रूरा गांव के पास दक्षिण मुखी...
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टिक्सी महादेव मंदिर : लोक मानव की असीम श्रद्धा का केन्द्र
टिक्सी महादेव लोक मानव की असीम श्रद्धा का केन्द्र है। इटावा के इस सुविख्यात मंदिर को टिक्सी नाम से पुकारे जाने के सम्बन्ध मे...
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ब्राह्मणी देवी- आस्था का केंद्र है प्राचीन मंदिर
इटावा मुख्यालय से 15 किलोमीटर पश्िचम दक्षिण में बलरई में रेलवे स्टेशन से 5 किलोमीटर दूर पर स्िथत है ब्राह्मणी देवी का मंदिर। मारकण्डेय...
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भारेश्वर मंदिर – जनपद का सबसे विशाल और प्राचीन मंदिर दूसरा नहीं
भरेह का इतिहास तो बक्त के पंछियों सा उड़ गया लेकिन अपने पद चिन्ह यहां के भारेश्वर मंदिर और किले के अवशेषों के रूप ...
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जैन मूर्तिकला का असुरक्षित संग्रहालय जैसा है आसई
आसई को आशानगरी भी कहा जाती है। आसई का अस्ितत्व बस्तुत: इटावा की प्राचीनता का द्योतक है। यमुना के बीहड़ों को काटकर बनाई गई...
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दिलों पर राज करती है जनपद प्रदर्शनी, फुव्वारा है ‘हृदय स्थल’ यहां होता है बिछड़ों का मिलन
शताब्दी वर्ष भी मना चुकी है प्रदर्शनी
इटावा जनपद की संस्कृति से जुड़ी जनपद प्रदर्शनी अपने जीवन के एक सौ वर्ष पूरे कर चुकी है।...
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केन्द्रीय विद्यालय खुलना जिले की सबसे बड़ी उपलब्धि
वर्तमान में जिले मे हर गांव में प्राइमरी पाठशाला, जूनियर हाईस्कूल, उच्चतर माध्यमिक विद्यालय, इण्टरमीडिएट वित्त विहीन हाईस्कूल/इण्टर, वित्त विहीन डिग्री कॉलेज,संस्कृत के कई...
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अर्जुन सिंह भदौरिया ने किया ‘लाल सेना’ का गठन
जिले में अर्जुन सिहं भदौरिया ने गांवों के लोगों को संगठित कर सशस्त्र लाल सेना बनाकर क्रान्ित के लिये पूर्ण तैयारी कर ली थी।...
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झण्डा लगाने की कोशिश में पुलिसिया गोली के शिकार बने छह लोग
भर्थना के विद्यार्थियों ने जुलूस निकाला। मवेशीखाने के मवेशियों को मुक्त्ा कर दिया और तहसील पर राष्ट्रीय झण्डा लगा दिया तथा रेल के तार...
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करूणाजनक घटना रही ‘नगला ढकाऊ’ का गोली कांड
इस आन्दोलन की चिर स्मरणीय, किन्तु करूणाजनक घटना थी ‘नगला ढकाऊ’ का गोलीकांड। जिसमें तीन व्यक्ित पुलिस को गोली के शिकार हुए।यह गोलीकांड 10...
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जब नेहरू और गांधी आंदोलन को गति देने इटावा आये
स्वतंत्रता संग्राम के दौरान इटावा और इटावा मुख्य कस्वों मे पूरी तरह हड़ताल रही। पुलिस ने जुलूसों पर डण्डे बरसाये। इसी समय पं0 जवाहर...
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काकोरी कांड में गिरफतार हुये ज्योति शंकर दीक्षित और मुकुन्दीलाल
क्रान्ितकारियों ने अपना कार्यक्रम शुरू कर दिया और राजनैतिक डकैतियों का सिलसिला जारी हुआ । 9 अगस्त सन् 1925 को काकोरी कांड के रूप...